Dear Zindagi




आखिर है क्या ये ज़िन्दगी???
ज़िन्दगी एक किताब की तरह है...
एक ऐसी किताब जिससे कुछ पाने से पहले ही लिखा जा चूका है,
 जिन्हे हम अपनी किस्मत कहते है। 
और कुछ हमें लिखना है,...
वो भी अपनी मेहनत की कलम से। 

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          जिंदगी हमें कितने मौके देती है ? इस बात को जो जितनी जल्दी समजलो, उसकी जिंदगी उतनी ही खुशहाल होती है। हर परिवर्तन असल में बस एक चुनौती है, उससे अधिक कुछ नहीं। चीजें बदलने के लिए ही होती हैं, उनका स्‍वभाव ही बदलना है। लेकिन हम हैं कि बदलने का नाम आते ही दिमाग भारी हो जाता है, आंखों के सामने अंधेरा छा जाता है। चीजें समझ में आएं इससे पहले ही हम उनके सामने आत्मसमर्पण [surrender] कर देते हैं। क्योंकि हम कभी हमारे सुविधा क्षेत्र [comfort zone] से बाहर ही नहीं आना चाहते। सुविधा क्षेत्र में रहते हुए हमें बाहरी दुनिया एकदम मुश्किल लगने लगती है। जब की सारा सोच विचार केवल ‘दिमागी’ है। दिमाग ने एक बार सोच लिया, ये तो बड़ा ही भारी काम है, तो यकीन मानिए, वह कभी आसान नहीं हो सकता। जबकि हमारे लिए वह उतना ही सरल था, जितना हम पहले से कर रहे हैं। 

           हमें हमारे ज़िंदगी से सीखना क्या है? अतीत के अनुभवों से सबक लेना है, लेकिन अतीत की छाया हर निर्णय पर नहीं पडेगा इसका भी हमें पूर्णरूप से ध्यान रखना है। संभावना का द्वार केवल भविष्‍य है, इसलिए हमें दूरदॄष्टि बनाए रखनी होगी। जो भी निर्णय आपने लिया है, वह केवल आपका है, इस बात को समझना होगा।

           आपके निर्णय को दूसरे के बातो का ग्रहण नहीं लगना चाहिए। ज़िंदगी मे आगे बढ़ते हुए हमारे पास सही सोच का होना अनिवार्य है। परिणाम की चिंता किये बिना हमें अपने काम मे अग्रेसर रहना चाहिए। सबसे महत्वपूर्ण बात ये की, हमें अपनी सोच सकारत्मक और विचार हमेशा परिवर्तनशील रखने चाहिए। 

         प्रख्यात लेखक फ्रेंकलिन ने सही कहा था, ''जो बात हमें पीड़ा पहुंचाती है, वही हमें सिखाती भी है।'' इसलिए समझदार लोग समस्याओ से कतराते नहीं, ना ही उनसे दूर भागते है। बल्कि वे समस्याओं के प्रति भी सोच को सकारात्मक रखते है और पार कर जाते है।

           मे आपको एक कहानी बताती हु, एक बार एक मछुआरा समंदर के किनारे, एक पेड़ की ठंडी छाँव में बैठकर, आराम से चाय पी रहा था। तभी एक अमीर व्यापारी उसके पास आकर बैठ गया और कुछ देर बाद कहने लगा की वह आराम से क्यों बैठा है ? ये बात सुनकर, मछुआरे ने कहा, आज के लिए काफी मछलियाँ पकड़ली हैं, जो की उसके परिवार के लिये पर्याप्त हैं। यह जवाब सुनकर व्यापारी गुस्से से बोला, तुम बेकार बैठकर अपना समय क्यों बर्बाद कर रहे हो? तुम्हे तो और मछलियाँ पकड़नी चाहिए। मछुआरे ने पुछा, में ज़्यादा मछलियाँ पकड़ कर क्या करूंगा? व्यापारी ने कहा, तुम और मछलियाँ पकड़ कर उन्हें बाजार में बेचकर ज़्यादा पैसा कमा सकते हो, तुम उस पैसे से एक बड़ी नाव खरीद सकते हो। फिर में क्या करूंगा? मछुआरे ने व्यापारी से पुछा। बड़ी नाव की मदद से तुम समंदर में दूर दूर तक जा सकते हो, इससे तुम और ज़्यादा मछलियाँ पकड़ कर, ज़्यादा पैसे कमा सकते हो। व्यापारी ने समझाते हुए कहा। फिर में क्या करूंगा? मछुआरे ने व्यापारी से फिरसे पुछा। व्यापारी ने कहा, तुम अधिक नावें खरीद सकते हो, तुम कई लोगों को काम पर रख सकते हो, इससे तुम ज़्यादा धन कमा सकते हो। ज़्यादा धन कमा लेने के बाद में क्या करूंगा? मछुआरे ने मुस्कुराते हुए से पुछा। व्यापारी ने जवाब दिया, फिर तो तुम मेरी तरह एक अमीर व्यापारी बन जाओगे। अमीर व्यापारी बन जाने के बाद भला में क्या करूंगा? मछुआरे ने पुछा। उसके बाद तुम अपनी ज़िन्दगी चैन और सुकून से गुज़ार सकते हो, व्यापारी ने जवाब दिया। ''आपका क्या ख्याल है, में अभी क्या कर रहा हूँ?” मछुआरे ने लगभग हँसते हुए कहा।


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          आपको चैन और सुकून की ज़िन्दगी जीने के लिए, कभी ना आने वाले कल का इंतज़ार करने की ज़रुरत नहीं है, और ना ही बहुत अमीर बन जाने की ज़रुरत है। ज़िन्दगी के हर पलों में आनेवाली छोटी छोटी खुशियों का आनंद लेकर, आप एक सुखी और शांत जीवन जी सकते हैं। इच्छा के अनुरूप जीने के लिए जुनून चाहिए, वरना परिस्थियाँ तो हमेशा विपरीत ही होती है। इंसानी फितरत भी अजीब चीज है। जो उसके पास नहीं होता उसकी शिकायतें करता है, और जो इंसान के पास है वो उससे कभी खुश नहीं रहता और अधिक पाने की लालसाने मे वो आज भी दुखी ही रहता है। तात्पर्य, तय आपको करना है, आपको आपकी ज़िन्दगी हर पल जीकर काटना है या सिर्फ काटना ही है? 

घबरा जाये जो चुनौतियों से वो भी क्या इंसान है ?
जीना सीखा दे जो बुरे वक़्त मे वो ही असल इम्तिहान है।  


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17 Comments

  1. Nic article but desr should be used photo

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  2. very nice article....
    please visit my blog
    https://kidscricketcoaching.blogspot.com/2020/06/episode-18-pull-shot-08062020.html

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    1. जिंदगी एक जुआ है और इसे स्वीकार जल्द ही करे 💐 💐 💐 💐 💐

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  3. Zindagi ko dear zindagi banakar jeene ka najariya shandar hain

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  4. Very nice article and with simple language to understand.

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  5. Nice Artical and simple language

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  6. Bahot badhiya thought 👌👌

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  7. Very nice and interesting article 👍

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