The Millionaire Umbrella Man - Pratik Doshi

 

The Millionaire Umbrella Man - Pratik Doshi 

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          अक्सर स्टूडेंट्स कॉलेज से पास होने के बाद यही सोचते हैं कि कैसे भी करके एक अच्छी कंपनी में जॉब लग जाएं तो डिग्री मिलना सफल हो गया। वहीं हजारों में कोई एक ऐसा भी होता है, जो यह सोच रखता है कि मैं 9 से 5 की जॉब करके किसी ओर को अमीर क्यों बनाऊं? इससे अच्छा है कि मैं खुद के लिए काम करूं और खुद ज्यादा से ज्यादा पैसे कमाऊं।

        आज हम आपको ऐसी ही सोच रखने वाले शख्स के बारे में बताएंगे। कॉलेज से ग्रेजुएट होने के बाद कुछ अलग करना चाहते थे। जो अब तक कभी किसी ने नहीं किया। लेकिन उनके पास सबसे बड़ा सवाल यह था कि आखिर वह कौन सा बिजनेस करेंगे?

          क्योंकि उस समय पहले से ही बहुत सारे बिजनेस मौजूद थे और प्रतीक के पास कोई आईडिया नहीं था। उन्हें सिर्फ इतना पता था कि वे अपना खुद का कुछ करना चाहते हैं।

डिज़ाइनर छाता बनाने का आया आईडिया -

          एक दिन बरसात के मौसम में प्रतीक जब मुंबई के लोकल ट्रेन का धक्का खाते हुए बारिश से बचते बचते घर जा रहे थे। तब उनकी नजर अचानक छतरी पर जाकर रुकी। जब उन्होंने ध्यान दिया तो पाया कि सभी लोगों के पास सिर्फ काले और हल्के रंगों की ही छतरी हैं। छतरी में किसी भी तरह की कोई प्रिंट या डिजाइन नहीं है।

          लोगों के इन छतरी को देखते हुए उन्हें एक बहुत ही जबरदस्त कल्पना उनके दिमाग में आई। उन्होंने सोचा, क्यों ना डिजाइन और प्रिंट वाले छतरी का बिजनेस किया जाए। क्योंकि यह बिज़नस कोई नहीं कर रहा है तो उनका यह बिजनेस पूरी तरह लाजवाब और जबरदस्त होगा।

          इस आइडिया को सोचकर प्रतीक बहुत खुश हो गए और वह अपने घर गए अपने घर जाकर जब उन्होंने अपना ही आईडिया अपने परिवार को बताया। तब उनके परिवार ने उनसे कहा कि “ क्या तुमने छतरी बेचने के लिए इतनी पढ़ाई की है ?

          घरवालों को प्रतिक्रिया देखकर प्रतीक जरूर निराश हुए, “लेकिन तब तक प्रतीक के मन में यह आईडिया पूरी तरह बस चुका था। उन्हें सिर्फ किसी भी हालत में अपनी छतरी का बिजनेस शुरू करना था। 

          जब प्रतीक अपने छतरी के बिजनेस के लिए ब्लू प्रिंट तैयार कर रहे थे। उनके दोस्त उनके घर आकर उनसे पूछते थे कि भाई तू क्या कर रहा है? तो प्रतीक जवाब में कहते थे कि मैं अपना छतरी का बिजनेस करना चाहता हूं।

          अपनी छतरी बिजनेस के लिए उन्होंने डिजाइनर से डिजाइन तैयार करवाएं। लेकिन जब उन्होंने यह डिजाइन पब्लिशर को दिखाया तो कोई भी पब्लिशर उनके डिजाइन को पब्लिश करने के लिए नहीं माने।

          क्योंकि इंडिया जैसे देश में नई नई चीजों को जल्दी अपनाया नहीं किया जाता है। इसीलिए कोई भी प्रतीक के डिजाइन को पब्लिश करने के लिए मान नहीं रहे थे। लेकिन प्रतीक ने हार नहीं मानी और एक के बाद एक पब्लिशर के पास जाते रहे।

6 महीनें में बिकी केवल 600 छतरियां-

           करीब 11 पब्लिशर द्वारा मना किए जाने के बाद जब वह 12वें पब्लिशर के पास गए, तो उसे यह डिजाइन और आईडिया काफी लाजवाब लगा। इसके बाद उन्होंने प्रतीक के डिजाइन को प्रिंट कर दिया और उसकी मार्केटिंग पर काम करना भी शुरू कर दिया। हालांकि, प्रतीक पहले 6 महीनें में केवल 600 छतरियां ही बेच पाए थे। जिसके बाद उन्हें घरवालों के ताने और दोस्तों द्वारा उड़ाई गई खिल्ली भी सहन करनी पड़ी।  

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पहली छतरी अपने पिता को बेची -

          एक दिन ऐसे ही प्रतीक के एक दोस्त नें उन्हें उनका बिजनेस ऑनलाइन ले जाने की सलाह दी, जिसके बाद उन्होंने अपना बिजनेस पूरी तरह से ऑनलाइन कर दिया। बिजनेस को ऑनलाइन ले जाने में उन्हें काफी डर लग रहा था। उन्हें डर था कि, उनकी छतरी कोई खरीदेगा भी या नहीं ? इसलिए उन्होंने अपनी सबसे पहली छतरी अपने पिता को बेची, ताकि उन्हें तसल्ली हो सके कि उनकी एक छतरी बिक चुकी है।  

ऐसे बन गए करोड़पति -

           बिजनेस को ऑनलाइन ले जाने का फैसला सही साबित हुआ और कुछ समय में ही देशभर में लोगों को उनके स्टार्टअप और उनकी छतरियों के बारे में पता लग गया। देशभर में उनकी छतरियों की सेल काफी बढ़ गया और देखते ही देखते वे केवल 2 सप्ताह के भीतर Amazon पर छतरी बेचने वालो की बेस्ट सेलर की लिस्ट में शामिल हो गए और इसी तरह इस आइडियाने प्रतीक को आज करोड़पति बिजनेस मैन बना दिया। 

          कहते है ना जहा चाह है वहा राह है।  ये बात The Millionaire Umbrella Man - Pratik Doshi ने साबित कर दी। 


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